मऊगंज में यूरिया खाद की खुलेआम कालाबाजारी, ग्रामीणों ने पकड़ा ट्रक
बहुती-पहाड़ी मार्ग पर करकचहा समिति के लिए जा रहे यूरिया से भरे ट्रक से रास्ते में खाद की कालाबाजारी की जा रही थी, जिसे ग्रामीणों ने पकड़कर वीडियो वायरल किया।

पब्लिक वाणी मऊगंज
जिले में खाद का संकट अनवरत बना हुआ है जिस तरह से खाद की समस्या है उसी तरह से कालाबाजारी भी चरम पर है कहने के लिए तो प्रशासन द्वारा खाद की कालाबाजारी रोकने हेतु कृषि विभाग के अधिकारियों कर्मचारियों सहित स्थानीय प्रशासनिक अधिकारियों को लगाया गया है लेकिन जिले भर में कालाबाजारी रुकने का नाम नहीं ले रही है।
खाद की कालाबाजारी चोरी छुपे नहीं बल्कि अब खुलेआम हो रही है इसी तरह मंगलवार की दोपहर बाद मऊगंज जिले के बहुती पहाड़ी मार्ग पर सोसाइटी में ले जाई जा रही यूरिया खाद की कालाबाजारी की जा रही थी जिसे ग्रामीणों ने न केवल पकड़ लिया बल्कि ट्रक से उतार कर की जा रही कालाबाजारी का वीडियो बनाकर वायरल कर दिया।
वायरल वीडियो के आधार पर तहसीलदार नईगढ़ी एवं थाना प्रभारी दलबल के साथ मौके पर पहुंचे और ट्रक में लोड शेष खाद को सेवा सहकारी समिति करकचहा में उतरवाया। तहसीलदार एवं पुलिस की उपस्थिति में सेवा सहकारी समिति में खाद उतरवाने के बाद ट्रक को पुलिस कस्टडी में नईगढ़ी थाना में खड़ा कराया गया है और इस विषय की जांच की जा रही है कि किसके इशारे पर सोसाइटी पहुंचने से पहले ही रास्ते में खाद की कालाबाजारी की जा रही थी।
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कृषि विभाग के जिम्मेदारों की कार्य प्रणाली पर उठे सवाल-
यूरिया खाद की कालाबाजारी करते जिस ट्रक को ग्रामीणों द्वारा पकड़ा गया उसके बारे में सूत्रों से जो बात बताई जा रही है उसके अनुसार विगत 5 दिन पूर्व यूरिया लोड कर ट्रक आया था और इस 5 दिन के अंतराल में ट्रक नईगढ़ी में खड़ा रहा लेकिन इस दौरान कृषि विभाग के जांच अधिकारी द्वारा यह पता करने की कोशिश नहीं की गई की 5 दिन पूर्व चली यूरिया खाद सेवा सहकारी समिति बहुती एवं करकचहा की खाद क्यों नहीं पहुंची।
सूत्र बताते हैं कि 14 अगस्त को रैक से यूरिया खाद लोड कर युक्त ट्रक गंतव्य स्थान के लिए निकला था जिसमें 600 बैग यूरिया खाद लोड थी निर्धारण आदेश अनुसार 300 बोरी बहुती एवं 300 बोरी करकचहा सेवा सहकारी समिति में खाद उतरनी थी लेकिन बहुती समिति में खाद उतारने के बाद ट्रक जैसे ही करकचहा समिति के लिए चला वैसे ही रास्ते में कालाबाजारी का खेल शुरू हो गया।
जिस दौरान रास्ते में ट्रक से उतार कर खाद की कालाबाजारी की जा रही थी उस दौरान ग्रामीणों ने वीडियो बनाकर वायरल कर दिया जिसका परिणाम रहा की तहसीलदार पुलिस लेकर मौके पर पहुंच गए और ट्रक में लोड शेष खाद को निर्धारण समिति में उतरवाकर ट्रक को थाना नईगढ़ी में खड़ा करा दिया गया।
अब इस विषय की जांच की जा रही है कि कालाबाजारी के इस खेल में कौन-कौन शामिल है किसके संरक्षण में खाद की कालाबाजारी का खेल चल रहा है।
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व्यापारी खुलेआम कर रहे कालाबाजारी-
जिले में यूरिया खाद की समस्या दिन प्रतिदिन विकराल होती जा रही है स्थानीय जिम्मेदारों की अनदेखी के कारण स्थितियों में सुधार नहीं हो रहा है। व्यापारी खुलेआम दोगुना रेट में खाद बेच रहे हैं।
कहने के लिए तो प्रशासन द्वारा निरीक्षण अधिकारी नियुक्त किए गए हैं लेकिन तथाकथित जो हकीकत सामने आ रही है उसके अनुसार यह निरीक्षण अधिकारी खाद की कालाबाजारी करने वाले व्यापारियों के यहां निर्धारित सिस्टम के तहत निरीक्षण कर रहे हैं जिसके चलते निर्मित समस्या का ना तो हल हो रहा है और ना ही किसानों को अपने खेतों में डालने के लिए सामान्य रूप से खाद उपलब्ध हो पा रही है।
लोगों ने यह भी आरोप लगाया कि निरीक्षण में लगाए गए कृषि विभाग के इन अधिकारियों के निरीक्षण की रिपोर्ट यदि देखी जाए तो इनके द्वारा किए जा रहे खुला निरीक्षण का खुलासा हो जाएगा क्योंकि इन निरीक्षण अधिकारियों द्वारा जहां भी निरीक्षण किया जाता है तो निरीक्षण नियम के अनुसार रिकॉर्ड का संधारण नहीं किया जाता।
कहीं भी यदि निरीक्षण किया जाता है तो सिर्फ इनका निरीक्षण दिखावा होता है और यही दिखावा किसानों के लिए संकट बना हुआ है। खाद संकट से परेशान क्षेत्र के किसानों ने जिला प्रशासन का ध्यान आकृष्ट कराते हुए माग की है कि निरीक्षण अधिकारियों द्वारा किए जा रहे जांच की परख की जाए और जांच अधिकारियों के मोबाइल का लोकेशन टेस किया जाए तो सब कुछ सामने आ जाएगा की निरीक्षण कहां और कैसे हो रहा है।
किसानों ने यह भी कहा कि व्यापारियों द्वारा कितनी मात्रा में आज तक यूरिया खाद का उठाव किया गया उसकी जांच कराई जाए तो सब कुछ साफ हो जाएगा। किसानों द्वारा यह भी आरोप लगाया गया है कि क्षेत्र के कई व्यापारी रैक से खाद तो उठाते हैं लेकिन अपने दुकान में रखकर बिक्री करने की बजाय रास्ते में ही पूरी खाद की कालाबाजारी कर लेते हैं जिससे लाइसेंस धारी के यहां खाद किसी को नहीं मिल पा रही है यदि कहीं है भी तो वह दोगुनी कीमत पर बेची जा रही है है।